महिलाएं (बेटी या बहन या माताजी) अब आप घर की चार दीवारी के भीतर समाहित नहीं। आप अपने पैसे को नियंत्रित भी
कर सकती है
१.
कई महिलाएं अपने पिता या पति या भाई या बेटे को ही
अपना स्वयं के बैंक सम्बंधी कार्य करने देती है। यह गलत है। आप कभी भी बैंक या
नकदी सम्बंन्धी कार्यो के बारे मे कभी भी नहीं जान पायेगी। ये आपके भविष्य की
जरूरत है। अपनी नकदी या बैंक खाते के लेन देन पर नजर रखे। अपने दो खाते खोले। अगर
हो सके तो एक ही बैंक मे या दूरी बैंक मे। एक बैंक खाते में आपका पैसा आएगा और
पहले खाते से २० प्रतिशत से ३० प्रतिशत रकम दूसरे खाते मे हस्तांतरित की जायेगी।
दूसरे खाते का प्रयोग केवल निवेश संबंन्धी कार्यो के लिए ही होगा।
२.
अब एक सूची सब चीजों की बनाएं जिनकी आपको जरूरत है
या जीवन में चाहते हैं। प्रत्येक के लिए एक नंबर और समय की अवधि निर्धारित करे।
इसमें आपके सपने भी शामिल है।
३.
अपने निवेश के समय और लक्षय तय करें
४.
एक बडे निवेश की बजाए जो भी थोडा आपके पास है उसके
साथ शुरूआत करें। समय समय पर आय वृद्धि के अनुसार निवेश भी वृद्धि कर सकते है
५.
सलाह सबकी लें लेकिन निर्णय स्वयं ले। जैसे युवा
आपको निवेश के नए साधनों के बारे बता सकता है लेकिन बुजुर्ग कम अच्छे और कम जोखिम
वाले विकल्प का सुझाव कर दे सकते है।
६.
अपनी पैस खर्च करने की आदतो को सुधारने की शुरूआत
करें। इसमें समय लगेगा पर यदि आप ठान लेगे तो यह नमुमकिन नहीं है। साथ
ही साथ अपने कौशल और निवेश को सुधारे।
७. अपने वेतन और निवेश के साथ साथ टैक्स पर भी घ्यान
दे। टैक्स बचाने के लिए टैक्स सेविंग उपयों को अपनाएं।
No comments:
Post a Comment